Wednesday, 16 October 2013

आसन्न खतरा


















अंधेरों की सनसनाहट
संगीत नही,
भयानक शोर
जो फाड़ डाले कान के परदों को -
अचानक थम जाती है ।

 …शायद कोई आसन्न ख़तरा
घुल रहा है हवाओं में ।

… के शायद कोई नाग निकल पड़े झाड़ियों से;
या और कुछ ।

… के शायद मुझे भी चुप हो जाना चाहिए ;
इस विलाप को बंद करके
सतर्क हो जाना चाहिए
उस आसन्न खतरे के प्रति।